चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास कैलाश सारंग ने बताया है कि चिकित्सा क्षेत्र में विस्तार करने के लिये राज्य शासन लगातार प्रयासरत है। उन्होंने बताया कि अस्पताल की ओपीडी में सुविधाओं का विस्तार किया जा रहा है। साथ ही इमरजेंसी विभाग के अधोसंरचना सहित वहाँ काम करने वालों को व्यवहारिक प्रशिक्षण देने की भी तैयारी चल रही है।
मंत्री सारंग चिकित्सा शिक्षा विभाग की परामर्शदात्री समिति की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने बताया कि एन.एम.सी. के मापदण्ड अनुसार नये भवनों की डिजाइन तैयार करवाई जा रही है। उपलब्ध जमीन के हिसाब से डिजाइन बनायी जायेगी।
मंत्री सारंग ने बताया कि प्रदेश के सभी चिकित्सा महाविद्यालय में हॉस्पिटल मैनेजमेंट इन्फार्मेशन सिस्टम के हार्डवेयर इंस्टॉल कर दिये गये हैं। सॉफ्टवेयर इंस्टॉलेशन की कार्यवाही चल रही है।
बताया गया कि गांधी चिकित्सा महाविद्यालय भोपाल के अधीन स्टेट वाइरॉलॉजी लैब स्टाफ को नेशनल सेंटर फॉर डिसीज कन्ट्रोल (एन.सी.डी.सी.) द्वारा जीनोम सिक्वेंसिंग के संबंध में प्रशिक्षण दिया जा चुका है। एन.सी.डी.सी. द्वारा जीनोम सिक्वेंसिंग मशीन भी दी जा चुकी है। मशीन के कुछ पार्टस अभी प्राप्त होने शेष हैं।
भोपाल में गांधी चिकित्सा महाविद्यालय से सम्बद्ध हमीदिया चिकित्सालय का 1498 बिस्तर अस्पताल में उन्नयन होने पर विश्वस्तरीय चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करायी जायेगी। गजराराजा चिकित्सा महाविद्यालय ग्वालियर से सम्बद्ध जयारोग्य चिकित्सालय का 1000 बिस्तरीय अस्पताल में उन्नयन किया जा रहा है। इससे ग्वालियर के आस-पास के ग्रामीण क्षेत्र की जनता को लाभान्वित किया जा सकेगा।
विधायक अजय विश्नोई, अशोक मर्सकोले, हीरालाल अलावा, सचिव डॉ. संजय गोयल, अपर सचिव श्रीमती सुरभि गुप्ता तथा उप सचिव के.के. दुबे उपस्थित थे।